सुल्तानपुर : कुड़वार बीते तीन दिन पूर्व घायल नंदी महाराज को नजदीकी गौशाला नहीं भेजा जा सका है। राष्ट्रीय गौरक्षा वाहिनी के पदाधिकारियों ने अलीगंज पशु चिकित्सक द्वारा इलाज किया गया। गौरक्षकों ने कई बार खंड विकास अधिकारी से वार्ता करते हुए कैटल कैचर वाहन द्वारा नंदी महाराज को गौशाला भेजे जाने की मांग की लेकिन शुक्रवार देर शाम तक नजदीकी गौशाला नहीं भेजा जा सका है।
जिले के कुड़वार ब्लाक के ऊंचगाव ग्राम सभा के पूरे बडगइयन गांव में बीते तीन दिन से घायल नंदी महाराज को इलाज के बाद नजदीकी गौशाला नहीं भेजा सका है। जिसके चलते गौरक्षकों में आक्रोश है। राष्ट्रीय गौरक्षा वाहिनी के कुड़वार ब्लाक प्रभारी गया बख्श दूबे ने कहा कि बीते बुधवार को ऊंचगाव ग्राम सभा के पूरे बडगइयन गांव निवासी प्रदीप द्विवेदी द्वारा सूचना दी गई कि एक नंदी महाराज बुरी तरह घायल हैं। उन्हें खड़े होने में भी दिक्कत हो रही है। गौरक्षा वाहिनी ने अलीगंज पशु चिकित्सक डॉ जगदीश प्रसाद कुशवाहा को नंदी महाराज के घायल होने की सूचना दी गई। पशु चिकित्सक डॉ कुशवाहा ने टीम भेजकर त्वरित इलाज कराया। डॉ द्वारा बताया गया कि नंदी महाराज का इलाज लंबा चलेगा। इसके लिए नजदीकी गौशाला भेजना उचित है। बीते बुधवार देर शाम ही कुड़वार खंड विकास अधिकारी नीलिमा गुप्ता को कैटल कैचर वाहन द्वारा घायल नंदी महाराज को बेहतर इलाज के लिए नजदीकी गौशाला भेजे जाने की मांग की गई लेकिन। शुक्रवार देर शाम तक न तो कैटल कैचर वाहन की व्यवस्था हुई और न ही गौशाला भेजा गया।
ऊंचगाव पंचायत सचिव अवनीश श्रीवास्तव का गैर जिम्मेदाराना बयान…
कुड़वार विकास खंड क्षेत्र के ऊंचगाव ग्राम पंचायत में सचिव के पद पर कार्यरत अवनीश श्रीवास्तव से इस बाबत बात की गई तो उनका गैर जिम्मेदाराना बयान आया।उनका कहना है कि कैटल कैचर वाहन द्वारा घायल नंदी महाराज को नजदीकी गौशाला नहीं भेजा जा सकता है। जबकि उन्हें यह मालूम नहीं है कि कैटल कैचर वाहन घायल गौवशों को आसानी से सुरक्षित स्थान पर पहुंचाने को लेकर आधुनिकता को ध्यान देकर तैयार किया गया है।
गौरक्षा वाहिनी ने कुड़वार में कैटल कैचर वाहन की उपलब्धता की मांग…
राष्ट्रीय गौरक्षा वाहिनी सेवा संघ के प्रदेश प्रभारी सर्वेश सिंह के नेतृत्व में वरिष्ठ जिला उपाध्यक्ष व पत्रकार उदय प्रकाश मिश्रा, कुड़वार ब्लाक प्रभारी गया बख्श दूबे ने जिलाधिकारी कृतिका ज्योत्स्ना से कुड़वार में एक कैटल कैचर वाहन की उपलब्धता की मांग की है। प्रदेश प्रभारी सर्वेश सिंह ने कहा कि कुड़वार ब्लाक में कैटल कैचर वाहन न होने से बीमार गौवंश को समय रहते उन्हें सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाना संभव नहीं हो रहा है। इस ठंड के माह में बीमार गौमाता को पशु चिकित्सक रिकवर करने का भरसक कोशिश कर रहे हैं। राष्ट्रीय गौरक्षा वाहिनी सेवा संघ ने अभी तक दस हजार से अधिक गौमाता का इलाज सेवा कर उन्हें संरक्षित करने में सफल रही है। वहीं निराश्रित गौवंशों की सेवा संकल्प को देखकर लोग राष्ट्रीय गौरक्षा वाहिनी सेवा संघ को देवदूत की उपाधि देने लगे हैं। जनपद में बहुत तेजी से लोगों ने आगे बढ़कर गौरक्षा वाहिनी सेवा संघ से जुड़कर गौमाता की सेवा तथा उन्हें सुरक्षित करने का काम शुरू कर दिए हैं।